डिंडौरी,रामसहाय मर्दन| विजयदशमी के अवसर पर परंपरा का पालन करते हुऐ पुलिस बल ने विधि विधान से मंगलवार को शस्त्र पूजन किया और अमन चैन की कामना की है। शक्ति के पर्व पर पुलिस लाईन सहित समस्त थाना और चौकी में पुलिस ने शक्ति के प्रतीक अस्त्र और शस्त्र का पूजन मंत्रोच्चार के साथ किया। पुलिस लाईन में कलेक्टर विकास मिश्रा और पुलिस अधीक्षक संजीव सिन्हा ने महाकाली की स्तुति करते हुऐ हथियारों की आरती की और शक्ति की भक्ति स्वरूप माता दुर्गा को क्षेत्रपाल बलि के तौर पर कुम्हड़ा काट कर अर्पित किया।
वही सिटी कोतवाली में थाना प्रभारी नरेंद्र पाल,शहपुरा थाना प्रभारी SL मरकाम,गाड़ासरई प्रभारी DP नागपुरे और अमरपुर चौकी में प्रभारी अनुराग जामदार ने शस्त्र और वाहन पूजन किया। मान्यता है कि बुराई पर अच्छाई और असत्य पर सत्य की जीत के प्रतीक दशहरा के दिन ही भगवान श्री राम ने रावण का वध कर लंका पर विजय प्राप्त की थी। जिसके चलते दशहरा को विजय दशमी के नाम से भी संबोधित किया जाता है। वहीँ पुराण में यह भी उल्लेख है कि मां दुर्गा ने महिषासुर नामक राक्षस का दशहरा के दिन ही वध किया था। इन्ही मान्यताओं के फलस्वरूप दशहरा के दिन अस्त्र,शस्त्र और वाहन पूजन करने की सनातन परंपरा है। जिसका अनुसरण किया जाता है।इस दौरान पुलिस लाईन में ASP जगन्नाथ मरकाम,रक्षित निरीक्षक मनोरम बघेल,MTO मलखान सिंह,कोतवाली में सबइंस्पेक्टर राजेन्द्र हरदहा, गंगोत्री तुरकर,सतेंद्र डहेरिया,राजू मरावी सहित सभी पुलिस जवान शामिल रहे।
अस्त्र और शस्त्र में अंतर…..
पुराणों के अनुसार, जिन हथियारों को दूर से शत्रु के विरुद्ध उपयोग किया जाता है। वे अग्नि, गैस और विद्युत तथा यांत्रिक उपायों से चलते हैं। ऐसे हथियारों को अस्त्र कहा जाता है। वहीं जिन हथियारों को शत्रु के निकट जाकर प्रहार किया जाता है और हमले से चोट पहुंचाई जाती है, वह शस्त्र कहलाते हैं।