जबलपुर। मप्र उच्च न्यायालय ने काउंटर क्लेम से जुड़े एक मामले में सिविल कोर्ट की पूरी प्रक्रिया अंतरिम रोक लगा दी। न्यायमूर्ति विशाल धगट की एकलपीठ ने पाया कि यह काउंटर क्लेम की प्रक्रिया मामले को उलझाने शुरू की गई है। जबलपुर की सिहोरा तहसील में रहने वाली सरोज नामदेव ने अपने जेठ जानकी प्रसाद के खिलाफ उच्च न्यायालय में याचिका दायर की थी। याचिकाकर्ता की ओर से अधिवक्ता सुशील मिश्रा ने बताया कि सरोज के पति की मृत्यु के बाद जेठ ने उसके हिस्से की संपत्ति धोखे से अपने नाम करा ली थी। सरोज ने संपत्ति पाने सिविल कोर्ट में परिवाद दायर किया है, जो कि लंबित है। अधिवक्ता मिश्रा ने बताया कि केस को उलझाने के मकसद से जानकी प्रसाद ने करीब 50 साल पुराने बंटवारे को निरस्त कर नए सिरे से बंटवारा करने काउंटर क्लेम पेश कर दिया। उन्होंने बताया कि सिविल कोर्ट ने उसे स्वीकार कर उन लोगों को भी पक्षकार बनाने के निर्देश दे दिए, जिन्हें बहुत पहले इसमें से कुछ संपत्ति बेची गई थी। उच्च न्यायालय ने काउंटर क्लेम की पूरी प्रक्रिया पर रोक लगा दी।